• Friday, 01 November 2024
जानिए एक IAS को जो ट्रांसफर होने पर झोला उठाया और फकीर की तरह चल दिया

जानिए एक IAS को जो ट्रांसफर होने पर झोला उठाया और फकीर की तरह चल दिया

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जानिए एक आईएएस को जो ट्रांसफर होने पर झोला उठाया और फकीर की तरह चल दिया

News Desk

एक आईएएस की ट्रांसफर होने पर झोला उठाकर फकीर की तरह चल देने की बात सोशल मीडिया में वायरल है। सोशल मीडिया पर बड़ी संख्या में लोगों के द्वारा इस कहानी को शेयर किया जा रहा है। यह आईएस योगेंद्र सिंह है। नालंदा डीएम के रूप में पदस्थापित थे और इनका ट्रांसफर समस्तीपुर बिहार सरकार के द्वारा कर दिया गया । 35 महीने तक ये यहां के डीएम रहे। इससे पहले शेखपुरा के डीएम के रूप में काफी चर्चित रहे थे और जिले में कई बदलाव के सूत्रधार भी बने।

झोला उठाए और डीएम खुद रेल टिकट लाइन में लग गए

ट्रांसफर होने के बाद डीएम योगेंद्र सिंह के फेयरवेल पार्टी को लेकर लोग तैयारी कर रहे थे । कई लोगों ने उन से निवेदन भी किया परंतु उनके द्वारा शालीनता पूर्वक इस से मना कर दिया गया। फिर वे अचानक तामझाम समेटे झोला उठाया और एक गार्ड को लेकर चुपचाप बिहारशरीफ रेलवे स्टेशन पहुंचे। गार्ड को स्टेशन से भी लौटा दिए। गार्ड जाना चाहे साथ पर मना कर दिए।

वहां लाइन में लगकर रेलवे का टिकट लिया और श्रमजीवी एक्सप्रेस पकड़कर पटना गए। और वहां से समस्तीपुर के लिए निकल गए।

नालंदा के राजगीर में किए कई बड़े बदलाव

जिला अधिकारी योगेंद्र सिंह काफी प्रख्यात रहे हैं। आम आदमी की तरह जीवन यापन इनकी विशिष्टता रही है । इसी को लेकर यह हमेशा चर्चा में रहे हैं। आम आदमी के हितों को लेकर काम करना और विकास को लेकर हमेशा प्रयास करते रहना। उसे जमीन पर शत-प्रतिशत उतारना इनकी विशिष्टता रही है।

शेखपुरा जिला का जिला अधिकारी सबसे पहले ये बनाए गए। इससे पहले पटना सिटी में एसडीओ के पद पर रहे । उसके बाद बेतिया में डीडीसी बने। 2012 के आईएएस अधिकारी योगेंद्र सिंह की चर्चा उनकी अच्छाइयों को लेकर हो रही है।

कई बार मिल चुका है सम्मान

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मुख्यमंत्री के हाथों सम्मानित होते जिला अधिकारी योगेंद्र सिंह

जिलाधिकारी योगेंद्र सिंह को कई बार सम्मानित किया जा चुका है। बिहार के जिलाधिकारी के बेहतर काम को लेकर इंडिया टुडे ग्रुप के द्वारा कराए गए सर्वे में शेखपुरा के जिलाधिकारी रहते हुए इन को सम्मानित किया गया था। पटना के अशोका होटल में मुख्यमंत्री के हाथों इन्हें सम्मानित किया गया। फिर बिहार के उपमुख्यमंत्री के द्वारा शौचालय दिवस पर भी इनको सम्मानित किया गया था।

आम आदमी की तरह तत्पर रहते हैं

जिलाधिकारी जिलाधिकारी योगेंद्र सिंह आम आदमी की तरह हमेशा तत्पर दिखाई देते हैं। शेखपुरा और नालंदा के जिलाधिकारी रहते हुए इनकी इसी बात से लोग प्रभावित हुए।शेखपुरा में शहीद स्मारक बनाने के लिए खुद मिट्टी उठाते योगेंद्र सिंह

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