क्या बेटी होना पैदा होना कलंक है…? सात दिन की बेटी को झाड़ी में फेंका
क्या बेटी होना पैदा होना कलंक है…? सात दिन की बेटी को झाड़ी में फेंका
शेखोपुरसराय
शेखोपुरसराय में लगातार यह दूसरी घटना सामने आई है जब बेटी होने पर उसे खेत के झाड़ियों में फेंक दिया गया। कुछ दिन पहले अमारी गांव में 3 दिन के नवजात बेटी को झाड़ी में फेंक दिया गया था। जिसे सदर अस्पताल के विशेष केयर यूनिट में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। वहीं मंगलवार की दोपहर राह चलते छात्राओं ने एक नवजात शिशु को झाड़ियों में फेंका हुआ देखा और शोर करने पर सभी लोग जुटे फिर उसे स्थानीय शेखोपुर सराय अस्पताल में भर्ती कराया गया।
जहां से उसे बेहतर इलाज के लिए भेजा गया है। शेखोपुर सराय चिकित्सक ने बताया कि 7 दिन पहले इसी अस्पताल में इस बच्ची का जन्म हुआ है। बेटी होने की वजह से मां के द्वारा इसे झाड़ियों में फेंक दिया गया है। लोग इस बात की चर्चा कर रहे हैं कि क्या बेटी होना कलम की बात होती है। जिसके वजह से मां बाप बेटी को झाड़ी में फेंक दे रहे हैं । समाज में बढ़ते भेदभाव और बेटियों के प्रति इस नफरत की भावना से गलत संदेश भी जा रहा है। सामाजिक स्तर पर दहेज के बड़े मामले को लेकर बेटियों से इस भेदभाव की चर्चा भी खूब हो रही है।
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