और जब अपराजेय योद्धा को आजाद हिंद आश्रम में गोलियों से भूंज दिया
और जब अपराजेय योद्धा को आजाद हिंद आश्रम में गोलियों से भूंज दिया
शेखपुरा
9 सितंबर 2005 की वह शाम शायद ही शेखपुरा वासी भूल पाएंगे। उस शाम को अचानक से शेखपुरा के सृजनहार कहे जाने वाले अपराजेय योद्धा को अपराधियों ने गोलियों से छलनी कर दिया।
इस घटना के बाद बिहार भर में कोहराम मच गया। इस घटना में कांग्रेस के दिग्गज नेता, पूर्व सांसद और अपराजेय योद्धा कहे जाने वाले शेखपुरा के सृजनहार राजो बाबू की हत्या की गई थी ।
गोलियों से उन्हें आजाद हिंद आश्रम में ही भूंज दिया गया था। उनके साथ एक अधिकारी की भी हत्या हुई थी। इस घटना के बाद जिले में दहशत का माहौल हो गया था।
इस घटना के 18 वर्ष पूरे होने पर राजो बाबू की प्रतिमा पर नेताओं और कार्यकर्ताओं ने पुष्प चढ़कर उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि दी। उनके पौत्र और बरबीघा से जदयू के विधायक सुदर्शन कुमार, उनके पौत्र कांग्रेस के जिला अध्यक्ष कुमार सत्यजीत के साथ-साथ कांग्रेस और जदयू के कई नेता शेखपुरा के कांग्रेस आश्रम में राजो बाबू की प्रतिमा पर पुष्प चढ़ा कर उन्हें नमन किया।
इस दौरान लोगों ने उन्हें योद्धा बताते हुए शेखपुरा को जिला बनाने वाले सृजनहार के रूप में भी रेखांकित किया। विधायक सुदर्शन कुमार ने कहा कि राजो बाबू कभी भी जाति की राजनीति नहीं किया। जात-पात से ऊपर उठकर सभी जातियों के क्षेत्र और लोगों के विकास का उन्होंने काम किया । उनके द्वारा खींच दी गई विकास की रेखा को छूने तक के कोई समर्थ नहीं रख पा रहा है। उनकी मौत भी विकास की योजना बनाते हुए ही हुई थी।
बता दें कि राजनीतिक रूप से इस हत्याकांड में बड़े खेल भी हुए थे । वहीं इस मामले में पुलिस किसी को भी कोर्ट में सजा दिलाने में नाकाम रही। कुख्यात अपराधियों को भी कोर्ट ने साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया। पुण्यतिथि पर कांग्रेस नेता एवं पूर्व मुखिया नवीन सिंह ने भी उनकी प्रतिमा पर पुष्प चढ़कर उन्हें नमन की किया। राष्ट्रीय जनता दल के विधायक विजय सम्राट ने अपने आवास पर पुष्पांजलि अर्पित कर उनको श्रद्धांजलि दी।
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